US क्रिप्टो ETF (exchange-traded fund) मार्केट एक बड़े बदलाव की ओर बढ़ रहा है। Bitwise Asset Management की 2026 की अनुमानित रिपोर्ट के मुताबिक, SEC द्वारा अक्टूबर 2025 से लागू नए आसान लिस्टिंग स्टैंडर्ड्स के चलते 100 से ज्यादा नए क्रिप्टो-लिंक्ड ETFs लॉन्च होने की उम्मीद है।
जहां इस रिपोर्ट में Bitcoin, Ethereum और Solana के नए ऑल-टाइम हाई रिकॉर्ड करने का अनुमान है, वहीं Bloomberg के ETF एनालिस्ट James Seyffart ने चेतावनी दी है कि जैसे-जैसे यह सेक्टर भीड़भाड़ वाला होता जाएगा, वैसे-वैसे इसमें बड़ी सेल-ऑफ़ भी देखने को मिल सकती है।
Bitwise ने 2026 के लिए 11 क्रिप्टो कीमत भविष्यवाणी शेयर की
Bitwise ने 2026 के लिए क्रिप्टो और ETF बाजार से जुड़े 10 बड़े प्रोजेक्शन दिए हैं, जिन्हें निवेशक करीब से फॉलो करेंगे। क्रिप्टो इंडेक्स फंड मैनेजर के अनुसार:
- Bitcoin, Ethereum और Solana नए ऑल-टाइम हाई पर पहुंचेंगे
- Bitcoin चार साल के cycle को ब्रेक करेगा और नया ऑल-टाइम हाई बनाएगा
- Bitcoin की वोलैटिलिटी Nvidia से कम होगी
- ETFs, Bitcoin, Ethereum और Solana की नई सप्लाई से ज्यादा खरीदारी करेंगे क्योंकि इंस्टिट्यूशनल डिमांड बढ़ेगी
- क्रिप्टो equities, tech equities से बेहतर परफॉर्म करेंगी
- Polymarket का ओपन इंटरेस्ट नया ऑल-टाइम हाई छुएगा और 2024 के चुनावी लेवल्स को पार कर जाएगा
- Stablecoins को उभरती हुई market की करेंसी को अस्थिर करने के लिए जिम्मेदार ठहराया जाएगा
- Onchain vaults का AUM दोगुना हो जाएगा
- अगर CLARITY Act पास होता है, तो Ethereum और Solana नए ऑल-टाइम हाई के लेवल पर जाएंगे
- Ivy League की आधी endowments क्रिप्टो में निवेश करेंगी
- US में 100 से ज्यादा क्रिप्टो-लिंक्ड ETFs लॉन्च होंगे
- Bitcoin का correlation stocks से घटेगा
2026 में ETF लिक्विडेशन की वेव आ सकती है, James Seyffart
ग्यारहवीं प्रेडिक्शन ने एनालिस्ट्स का खास ध्यान खींचा, क्योंकि यह बड़ा रेग्युलेटरी बदलाव आने के बाद इतने सारे क्रिप्टो-लिंक्ड ETF लॉन्च की उम्मीद जाहिर करता है।
सितंबर 2025 में, SEC ने crypto assets सहित commodity-based trust shares के लिए generic listing standards पेश किए।
“[कई बड़े एक्सचेंजों] ने SEC के पास proposed rule changes दायर किए ताकि Commodity-Based Trust Shares के लिए generic listing standards अडॉप्ट किए जा सकें। हरेक proposed rule change पर notice और comment का मौका मिला। यह order accelerated basis पर Proposals को approval देता है,” SEC की फाइलिंग में कहा गया।
इस बदलाव के बाद ETFs को हर बार अलग-अलग review की जरूरत नहीं होगी, जिससे लिस्टिंग में देरी और असमंजस कम होगा।
Bitwise मानता है कि यह रेग्युलेटरी क्लैरिटी 2026 में इंस्टिट्यूशनल लेवल पर क्रिप्टो ETF एडॉप्शन और नए इनफ्लो को बढ़ावा देगी।
“मैं यहां Bitwise से 100% सहमत हूं,” Seyffart ने इंडीकेट किया। “मुझे भी लगता है कि हमें क्रिप्टो ETP प्रोडक्ट्स में बहुत सारी लिक्विडेशन देखनी पड़ सकती है। ये शायद 2026 के एंड में हो सकता है, लेकिन 2027 के एंड तक तो होने की पूरी संभावना है। इश्यूअर्स बहुत सारे प्रोडक्ट्स मार्केट में ला रहे हैं।”
Bitcoin ETF की dominance और altcoin saturation
Bloomberg के डेटा के मुताबिक फिलहाल 90 क्रिप्टो ETPs $153 बिलियन को मैनेज कर रहे हैं, और 125 नई फाइलिंग्स पेंडिंग हैं। Bitcoin टॉप पर है जिसमें 60 प्रोडक्ट्स में $125 बिलियन है, वहीं Ethereum दूसरे नंबर पर है जिसमें 25 ETF में $22 बिलियन है।
Altcoins जैसे XRP और Solana अभी भी सीमित दायरे में हैं, उनके पास 11-13 प्रोडक्ट्स हैं और करीब $1.5-$1.6 बिलियन के एसेट्स हैं, जिससे यह संकेत मिलता है कि सैचुरेशन का रिस्क बढ़ रहा है।
मार्केट में बहुत सारे प्रोडक्ट्स आने वाले हैं। एनालिस्ट्स का मानना है कि इन्वेस्टर्स के पैसे के लिए सीधी कॉम्पिटिशन होगी। हालांकि, पुराने ट्रेंड यह दिखाते हैं कि सावधानी बरतना जरूरी है। 2010 के बाद से लॉन्च हुए लगभग 40% ETF बाद में क्लोज हो चुके हैं, अक्सर कम एसेट्स या कम ट्रेडिंग वॉल्यूम के कारण।
क्रिप्टो ETF में आने वाला सेल-ऑफ़: कौन जीतेंगे, कौन हारेंगे और कैसे बनेंगे ‘Zombie’ assets
Seyffart की वार्निंग यह बताती है कि बहुत तेज ग्रोथ के बाद अक्सर कंसोलिडेशन आता है। जो क्रिप्टो ETF पर्याप्त AUM नहीं जुटा पाते, अपनी स्ट्रेटेजी नहीं डिफरेंशिएट कर पाते या स्ट्रॉन्ग डिस्ट्रीब्यूशन नेटवर्क तैयार नहीं कर पाते, वे जल्दी बंद हो सकते हैं।
वो प्रोडक्ट्स जो खास एक्सपोजर स्ट्रेटेजी, इनकम फीचर्स या कस्टमाइज्ड रिस्क प्रोफाइल ऑफर करते हैं, वे लॉन्ग-टर्म में अपनी जगह बना सकते हैं।
Liquid Collective के CEO Chris Matta भी “zombie” प्रोजेक्ट्स के संदर्भ में इस चिंता को दोहराते हैं। उन्होंने ऐसे क्रिप्टो एसेट्स को डिफाइन किया जिनका मार्केट कैप $1 बिलियन या उससे ज्यादा है, लेकिन डेवेलपमेंट मिनिमम है।
“हो सकता है ट्रेडिशनल मार्केट में किसी ETF का टिक ना पाना एक ज्यादा स्ट्रॉन्ग सिग्नल बने और इससे एक्टिव और डेड क्रिप्टो एसेट्स के पर्फॉर्मेंस में ज्यादा बड़ा फर्क देखने को मिले,” Matta ने कहा।
इसीलिए, ETF स्पेस में नए इन्वेस्टर्स को काफी सिलेक्टिव होना पड़ेगा। ट्रेडिंग लिक्विडिटी, ट्रैकिंग एक्युरेसी, फीस स्ट्रक्चर और इश्यूअर की क्रेडिबिलिटी— ये सभी फैक्टर्स टिकाऊ प्रोडक्ट्स को फेल होने वाले प्रोडक्ट्स से अलग करेंगे।
इस बीच, Bitwise की बुलिश भविष्यवाणियाँ यह संकेत देती हैं कि मुख्य एसेट्स से जुड़े प्रमुख ETF में लगातार संस्थागत इनफ्लो से फायदा मिलना जारी रह सकता है।
2027 के अंत तक उम्मीद की जा रही लिक्विडेशन की लहर से यह सेक्टर बदल सकता है, जिससे सबसे मजबूत प्रोडक्ट्स में पूंजी कंसोलिडेट हो सकती है।
भले ही यह प्रक्रिया डिस्टर्ब करे, लेकिन आखिरकार इससे US क्रिप्टो ETF मार्केट मजबूत हो सकता है, क्योंकि इससे:
- कमजोर ऑफरिंग्स को हटाया जाएगा,
- इंवेस्टर्स के लिए चॉइसेज को क्लियर किया जाएगा, और
- परस्पर अलग स्ट्रैटेजीज़ को हाईलाइट किया जाएगा।
सवाल अब भी है: इस भीड़भाड़ वाले ETF सेक्टर में कौन से प्रोडक्ट्स सर्वाइव करेंगे और कौन से क्रिप्टो के भूले-बिसरे “zombie” एसेट्स की लिस्ट में शामिल हो जाएंगे?